Mp news: मध्य प्रदेश के बुरहानपुर जिले के एक फॉर्म हाउस में चार बकरे दूध दे रहे हैं. जब से यह बात इलाके जिले ...में फैली है, फॉर्म हाउस पर बकरों को देखने के लिए कई लोग पहुंच रहे हैं. इन बकरों की कीमत लाखों में है. सभी राजस्थानी नस्ल के हैं. बकरों की बनावट बकरियों जैसी है. उनके गुप्तांग पर बकरियों की तरह दो थन हैं. सभी बकरे हर रोज 250 ग्राम दूध देते हैं. इन बकरों का खास ख्याल रखा जाता है. मध्य प्रदेश में बकरी नहीं बल्कि बकरे भी दूध देते हैं. यह बात सुनने में भले ही अजीब लगती हो लेकिन ये सच है. मध्य प्रदेश के बुरहानपुर में गोट फार्मिंग करने वाले डॉ तुषार नेमाड़े के फार्महाउस में एक दो तीन नहीं बल्कि चार ऐसे बकरे हैं, जो दूध देते हैं. इसे देखने के लिए दूर-दूर से लोग भी आ रहे हैं. मध्य प्रदेश के बुरहानपुर में 15 साल से गोट फार्मिंग कर रहे डॉ तुषार नेमाड़े ने बताया कि उनके फार्म हाउस पर सुल्तान, बादशाह, चाचा और बंदे नाम के चारे बकरे हैं जो दूध देते हैं. डॉ तुषार नेमाड़े ने आगे बताया कि, यह देश के अलग-अलग कोने से खरीदे गए हैं. इनमें पंजाब, चंबल, राजस्थान आदि इलाके शामिल है. उन्होंने बताया कि एक बकरा कम से कम ढाई सौ ग्राम दूध देता है. यह दूध बाजार में 300 रुपये लीटर तक बेचा जा रहा है. उन्होंने बताया कि बकरों की कीमत भी काफी महंगी है. उन्होंने बादशाह नामक बकरा 2,20,000 रुपये का खरीदा था. इसके अलावा सुल्तान, चाचा और बंदे की कीमत भी 4,00,000 से अधिक है.
650 बकरियां और 25 बकरे..
बुरहानपुर के डॉक्टर तुषार निमाड़े का सरताज नाम से फार्महाउस है. इस फार्महाउस में 650 बकरियां है जबकि 20 बकरों को रखा गया है. फार्महउस को ट्रेनिंग सेंटर के रूप में भी विकसित किया गया है. यहां कई लोग गोट फार्मिंग शुरू करने से पहले देखने के लिए आते हैं. यह फार्म हाउस बकरों के दूध देने के कारण पूरे मध्य प्रदेश में फेमस हो गया है. डॉ नेमाड़े ने बताया कि इन बकरों को ब्रिडिंग के लिए भी उपयोग किया जाता है.
3 साल से दे रहा है दूध..
फार्महाउस संचालक तुषार नेमाड़े ने बताया कि, बकरे लगातार 3 साल से दूध दे रहे हैं. बकरों के दो थन हैं और इसी थन से रोज दूध निकाला जाता है. दूध लेने वालों की डिमांड भी लगातार बढ़ रही है. लोग उन्हें कई दिनों पहले से ही संपर्क कर लेते हैं. बताया जाता है कि छोटे बच्चों के लिए यह दूध मुंह मांगी कीमत पर ले जाया जा रहा है.
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