चुनावी वर्ष 2023 में नक्सलियों से नेताओं को खतरा: 10 साल में 35 से ज्यादा कांग्रेस-भाजपा नेताओं की हुई हत्या, फिर हुआ MLA के काफिले पर हमला

चुनावी वर्ष 2023 में नक्सलियों से नेताओं को खतरा: 10 साल में 35 से ज्यादा कांग्रेस-भाजपा नेताओं की हुई हत्या, फिर हुआ MLA  के काफिले पर हमला

चुनावी वर्ष 2023 में नक्सलियों से नेताओं को खतरा

छत्तीसगढ़(Chattishgarh)  में इस साल विधानसभा चुनाव(assembly elections in 2023) होना है। चुनावी साल में बस्तर के नेताओं पर एक बार फिर से नक्सलियों का खतरा मंडरा रहा है। 18 अप्रैल यानि कल नक्सलियों ने बीजापुर के MLA पर हमला किया है। पिछले 3 महीनों में बस्तर(Bastar) के अलग-अलग जिलों में नक्सलियों ने भाजपा(BJP) के 5 नेताओं को चुन-चुनकर मारा है।
ये सभी जमीनी स्तर के नेता थे। जबकि, पिछले 10 सालों में 35 से ज्यादा कांग्रेस और भाजपा नेताओं की हत्या माओवादी कर चुके हैं(Congress and BJP leaders have been killed by Maoists) अब भी कई छोटे से लेकर बड़े स्तर के नेता नक्सलियों के टारगेट में हैं। इनमें से कई अपनी-अपनी पार्टी से MLA टिकट के दावेदार भी हैं।

चुनावी साल में नक्सली नेताओं को टारगेट(Naxalite Leaders Target In India) करते हैं क्या?

साल 2019 में लोकसभा चुनाव के समय नक्सलियों ने श्यामगिरी के पास दंतेवाड़ा के भाजपा MLA भीमा मंडावी की वाहन को बम से उड़ा कर उनकी जान ले ली थी। साल 2013 में विधानसभा चुनाव से पहले माओवादियों ने कांग्रेस की परिवर्तन यात्रा पर हमला किया था। जिसमें नंद कुमार पटेल, महेंद्र कर्मा, विद्याचरण शुक्ल समेत कई कांग्रेसियों की जान गई थी। अब इस साल होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले नक्सली एक्टिव हो गए हैं। बीजापुर MLA पर हुए हमले के बाद अब नेताओं के जहन में यही सवाल उठ रहा है प्रचार करें या जिंदगी बचाएं?

मौत के मुंह से जिंदा बच निकले ये नेता, अब भी टारगेट में

18 अप्रैल को बीजापुर विधायक विक्रम मंडावी गंगालूर गांव गए थे। वे साप्ताहिक बाजार में नुक्कड़ सभा मे शामिल हुए। फिर शाम के वक्त जिला मुख्यालय लौट रहे थे। वहीं पदेड़ा गांव के पास नक्सलियों ने विधायक के काफिले पर हमला कर दिया था। जिस वाहन में जिला पंचायत सदस्य पार्वती कश्यप बैठीं थीं उस वाहन में गोलियां लगी थी। हालांकि, सभी सुरक्षित जिला मुख्यालय लौट आए थे। ऐसा बताया जा रहा है कि, यदि वाहनों को निकलने में थोड़ा और वक्त लगता तो बड़ी दुर्घटना हो सकती थी।

दंतेवाड़ा कांग्रेस कमेटी के जिला अध्यक्ष अवधेश गौतम नक्सलियों की हिट लिस्ट में हैं। साल 2007, 2010, 2017 समेत अन्य कुछ सालों में नक्सलियों ने अवधेश पर करीब 4 से 5 बार हमला किया है। हालांकि, इस हमले में अवधेश बच निकले। लेकिन इनके रिश्तेदार संजय सिंह और एक नौकर की जान चली गई। अवधेश गौतम के नकुलनार में स्थित घर पर नक्सलियों ने हमला किया था। साप्ताहिक बाजार की भीड़ का फायदा उठा कर नक्सली हमेशा हमला करते थे। घर पर हुए हमले में इनके बेटे के पैर में भी गोली लगी थी। इन्हें भी सुरक्षा मिली है। नंदलाल मुड़ामी पर माओवादियों ने हमला किया था

साल 2018 में विधानसभा चुनाव से कुछ दिन पहले भाजपा अनुसूचित जनजाति मोर्च के प्रदेश महामंत्री नंदलाल मुड़ामी पर माओवादियों ने हमला किया था। नंदलाल, पालनार में अपने घर पर खाना खा रहे थे। शाम करीब 7 से 8 बजे के बीच नक्सली अचानक इनके घर में घुसे और धारदार हथियार से हमला कर दिया था। जिससे नंदलाल गंभीर रूप से घायल हो गए थे। जिन्हें हेलीकाप्टर के माध्यम से रायपुर रेफर किया गया था। हालांकि, इलाज के बाद अब ठीक हैं।

दंतेवाड़ा के भाजपा जिला अध्यक्ष चैतराम अटामी भी नक्सलियों के टारगेट में हैं। करीब 5-6 साल पहले नक्सली चैतराम अटामी को मारने इनके गृहगांव कासोली पहुंचे थे। इन पर हमला भी किया था। हालांकि, पुलिस भी मौके पर पहुंच गई थी। नक्सली मौके से भाग निकले थे। इस हमले के बाद चैतराम की सुरक्षा बढ़ाई गई है। चैतराम अटामी अपने गृहगांव को छोड़कर अब गीदम में रह रहे हैं। कांग्रेस कमेटी के जिला अध्यक्ष अवधेश गौतम नक्सलियों की हिट लिस्ट में हैं।

दंतेवाड़ा के कांग्रेस नेता राजकुमार तामो भी नक्सलियों के टारगेट में हैं। कुछ साल पहले नक्सलियों ने राजकुमार तामो के कुम्हाररास में स्थित घर पर हमला किया था। हालांकि, इस हमले में राजकुमार भी बाल-बाल बचे थे। राजकुमार भी महेंद्र कर्मा के करीबियों में से थे। इसी वजह से नक्सली उन्हें अपना निशाना बनाए थे। भाजपा जिला अध्यक्ष चैतराम अटामी भी नक्सलियों के टारगेट में हैं।

3 महीने में 5 BJP नेताओं की मौत, 4 को नक्सलियों ने मारा

16 जनवरी 2023 को भाजपा नेता और पूर्व सरपंच बुधराम करटाम की संदिग्ध हालत में मौत हुई थी। घर से कुछ दूरी पर ही BJP नेता का शव मिला था। भाजपा ने इसे हत्या बताया था।

5 फरवरी 2023 को बीजापुर जिले के आवापल्ली इलाके के एक अंदरूनी गांव में मंडल अध्यक्ष नीलकंठ कक्केम को माओवादियों ने मारा था।

10 फरवरी 2023 को नारायणपुर के छोटे डोंगर में BJP के जिला उपाध्यक्ष सागर साहू की गोली मारकर हत्या की गई।

11 फरवरी की शाम इंद्रावती नदी पार भाजपा नेता रामधर की हत्या की गई। रामधर दंतेवाड़ा जिले के रहने वाले थे।

28 मार्च की रात नारायणपुर के एक गांव में रामजी दोदी की हत्या कर दी। BJP के जिला उपाध्यक्ष सागर साहू की गोली मारकर हत्या की गई थी।

भीड़ का फायदा उठाकर करते हैं हमला

बस्तर में नेताओं पर नक्सलियों ने अब तक जितने भी हमले किए हैं उनमें से अधिकतर साप्ताहिक बाजार वाले दिन किए गए हैं। नेताओं के घरों पर हमला करने पहुंचने वाले नक्सली हाट बजार वाले दिन ग्रामीण वेशभूषा में पहुंचते थे, ताकि भीड़ का फायदा उठा कर नेताओं के घर तक आसानी से पहुंचे और वारदात को अंजाम दे सकें।

अब कैसे करेंगे प्रचार?

इसी साल विधानसभा चुनाव होने हैं। छत्तीसगढ़ में अपनी सरकार बनाने के लिए सभी पॉलिटिकल पार्टी तैयारियों में जुट गई है। लेकिन, चुनावी साल में नेताओं पर लगातार हो रहे हमले से पार्टी कार्यकर्ताओं में भी दहशत है। अंदरूनी इलाकों में प्रचार करने के लिए जाने पर चिंता बढ़ गई है। छत्तीगसढ़ की राजनीति में कहा जाता है कि, यदि किसी भी पार्टी को प्रदेश में अपनी सरकार बनानी है तो बस्तर की सभी 12 सीटों पर कब्जा जमा लें तो सत्ता का रास्ता आसान हो जाता है। लेकिन, बस्तर की अधिकांश आबादी गांवों में निवास करती है। जहां प्रचार करना और 100 प्रतिशत वोट करवाना भी बड़ी चुनौती है।

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